टीम एबीएन, रांची। झारखंड केमिस्ट केमिस्ट्स एंड ड्रजिस्ट एसोसिएशन (जेसीडीए) रांची हमेशा से आॅनलाइन दवा की बिक्री का कड़ा विरोध करता रहा है और करता रहेगा क्योंकि यह देश के खासकर युवा पीढ़ी बच्चे और बच्चियों पर बहुत बुरा प्रभाव डाल रहा है। क्योंकि आॅनलाइन व्यवस्था होने से बगैर डॉक्टर के प्रिसक्रिप्शन के युवा वर्ग और बच्चे आॅनलाइन गर्भ निरोधक गोलियां और नशे की गोलियां आसानी से प्राप्त कर पा रहे हैं जिस पर खासकर सरकार की ओर से रोक लगी हुई है जो प्रत्यक्ष रूप से युवा पीढ़ी के स्वास्थ्य को प्रभावित कर रहा है।
जो वर्तमान युवा पीढ़ी के लिए बहुत ही खतरनाक है क्योंकि यह युवा ही हमारे राष्ट्र के धरोहर हैं उक्त बातें जेसीडीए रांची के वाइस प्रेसिडेंट और ट्रेजर उमेश कुमार श्रीवास्तव ने रविवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहीं। जेसीडीए रांची के कार्यकारिणी समिति सभा तथा आम सभा के बाद हुए रविवार को प्रेस को संबोधित कर रहे थे उन्होंने बताया कि आॅनलाइन मेडिसिन से से मरीज के स्वास्थ्य पर बहुत ही बुरा प्रभाव पड़ रहा है क्योंकि आॅनलाइन व्यवस्था में दूर दराज से दवाई मंगाई जाती है इस तरह उतनी दूरी से दवा आने के क्रम में वह दवाई जो एक निश्चित तापमान पर रखी जानी चाहिए वह प्रभावित होता है साथ ही उसमें दवा के के सेवन की विधि की जानकारी नहीं होती है जो मरीज के स्वास्थ्य को प्रत्यक्ष रूप से प्रभावित करता है।
फार्मासिस्ट कमेटी के अध्यक्ष उमेश कुमार श्रीवास्तव ने इस अवसर पर प्रेस को बताया कि झारखंड प्रदेश में कल 18,000 खुदरा दवा दुकानें हैं और होलसेल के 8000 है जिसमें फार्मासिस्ट की संख्या लगभग 8500 है अत: 18000 खुदरा दवा दुकानदार आज विभिन्न कर्म से अस्थिरता की स्थिति से गुजर रहे हैं। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा फार्मासिस्ट से संबंधित परेशानियों का समाधान नहीं किया जाता नहीं किया गया तो अधिकतर दवा दुकान बंदी के कगार पर पहुंच जायेंगे और अंतत: संगठन को आंदोलन के लिए मजबूर होना पड़ेगा। श्री श्रीवास्तव ने झारखंड प्रदेश के सभी जिला संगठन जिनका चुनाव होना बाकी है के बारे में बताया कि वह अपने जिला में अधिकारियों पदाधिकारी के चुनाव के लिए तैयार हो जाए और अगले सत्र के लिए तीन माह तक अपना चुनावी कार्यक्रम संपन्न कर लें।
मौके पर एग्जीक्यूटिव जनरल सेक्रेटरी सुभाष चंद्र मंडल ने कहा कि आॅनलाइन फार्मेसी तथा परचून की दुकान पर दवा बेचने की सरकार की नीति की हम जमकर आलोचना करते हैं और उन्होंने कहा कि सरकार अपनी समिति से मरीजों के जान के साथ खिलवाड़ करने की कोशिश कर रही है।
वाइस प्रेसिडेंट एंड ट्रेजर उमेश कुमार श्रीवास्तव ने बताया कि मीटिंग की शुरूआत संगठन के अध्यक्ष श्री कृष्णा प्रधान के स्वागत भाषण से हुआ मीटिंग में सभी जिलों से आए संगठन के प्रतिनिधियों का स्वागत करते हुए उन्हें दवा व्यवसाय व्यवसाइयों के साथ होने वाली समस्याओं से अवगत कराया जिसमें उन्होंने आॅनलाइन मेडिसिन परचून की दुकान पर अगर फार्मासिस्ट दवा की उपलब्धता तथा फार्मासिस्ट लाइसेंस के नवीकरण में होने वाली समस्याओं की जानकारी दी। मीटिंग में संगठन के कुछ समस्याओं पर गंभीरतापूर्वक चर्चा हुई, जिसमें फार्मासिस्ट की समस्या सरकार की हर गली मोहल्ले गांव देहात के परचून की दुकान पर बगैर फार्मासिस्ट के दवा वितरण पर चिंता और आॅनलाइन मेडिसिन की बिक्री पर गहरी चिंता जतायी गयी।
सभा में धनबाद केमिस्ट के ललित अग्रवाल ने भी बढ़-कर कर हिस्सा लिया और विभिन्न समस्याओं की चर्चा की वही जमशेदपुर केमिस्ट आशीष चटर्जी ने भी अपनी बातों को रखा डाल्टनगंज केमिस्ट की ओर से धर्मेंद्र उपाध्याय ने अपने विचार रखे। बैठक में पूरे झारखंड राज्य से लगभग 220 से अधिक प्रतिनिधियों ने हिस्सा लिया। जिसमें कृष्णा प्रधान, उमेश श्रीवास्तव, सुभाष चंद्र मंडल, रोहित प्रधान, धर्मेंद्र उपाध्याय, आशीष चटर्जी, रामनंदन सिंह, सुशील कुमार, राकेश पांडे, ए कृष्णकांत, अरविंद कुमार, मनीष कुमार, राजीव रंजन, दिनेश कुमार, अमित कुमार तथा लक्ष्मीकांत गुप्ता ने अपने विचार रखे। बैठक में कल साथ एजेंटों पर गहरी चर्चा हुई। संगठन सचिव रोहित प्रधान के धन्यवाद ज्ञापन के साथी कार्यक्रम का समापन हुआ।
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