एबीएन न्यूज नेटवर्क, लातेहार। जिले में मां उग्रतारा मंदिर में 16 दिवसीय दुर्गा पूजा या शारदीय नवरात्रि की सदियों पुरानी परंपरा सोमवार को शुरू हो गयी। एक अधिकारी ने यह जानकारी दी। मंदिर के पुजारी पंडित गोविंद वल्लभ मिश्रा ने कहा कि मंदिर में सैकड़ों वर्षों से 16 दिवसीय नवरात्रि पूजा का आयोजन किया जाता रहा है।
इस वर्ष भी हम परंपरा के अनुसार भक्तिभाव के साथ अनुष्ठान कर रहे हैं। मां उग्रतारा मंदिर झारखंड की राजधानी रांची से 110 किलोमीटर दूर स्थित है। मिश्रा ने कहा, इस दौरान भक्तों को गर्भगृह में प्रवेश करने की अनुमति नहीं होती है। पुजारी भक्तों द्वारा लाया गया प्रसाद गर्भगृह के अंदर देवता को चढ़ाते हैं। प्रसाद में मुख्य रूप से नारियल और मिश्री चढ़ाना होता है। दुर्गा पूजा के दौरान बड़ी संख्या में भक्त मंदिर आते हैं।
मिश्रा ने कहा, 16 दिवसीय पूजा के अंतिम दिन विजयादशमी पर मां भगवती को पान अर्पित किया जाता है। ऐसा माना जाता है कि देवी विसर्जन की अनुमति तभी देती हैं जब पान उनके आसन से गिर जाता है। इसके बाद विसर्जन की रस्में शुरू होती हैं। इस पूजा के दौरान कई अनुष्ठान किये जायेंगे। इनमें नवरात्रि की शुरुआत में कलश की स्थापना की जाती है।
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